UPCL में एक बार फिर गरमाया मामला
देहरादून।उत्तराखंड पावर कारपोरेशन लिमिटेड में एक बार फिर गरमाया वर्ष 2009 में अर्हकारी सेवा में असंवैधानिक तीन-तीन शिथिलता पाये अवर से सहायक बने अभियंताओं की ज्येष्ठता (Seniority) का मामल।
ऊर्जा निगमों में ग्रेजुएट इंजीनियरों के संगठन, उत्तरांचल पावर इंजीनियर एसोसिएशन, द्वारा सचिव ऊर्जा तथा अपर मुख्य सचिव उत्तराखंड शासन को दिनांक 05-07-2022 को दिए गए पत्र में मांग की गई है कि उत्तराखंड पावर कारपोरेशन लिमिटेड में सहायक अभियंताओं कि ज्येषठता का निर्धारण शीघ्र किया जाए।
एसोसिएशन ने कहा है कि उत्तराखंड राज्य में सरकारी सेवक अर्हकारी सेवा में शिथिलीकरण नियमावली नवम्बर 2010 में आई है लेकिन 2009 में अवर अभियंताओ को Multiple Relaxation (कुल 3 शिथिलता) देकर सहायक अभियंता के पद पर प्रोन्नति दे दी गई थी। यह कारनामा निगम के कुछ नटवरलालो ने मा० निदेशक मंडल को गुमराह करके तथा कूट रचित दस्तावेजों के आधार पर खिलाया था।इस घोटाले में उत्तराखंड सरकार को भी गुमराह किया गया था।
उत्तराखंड सहित देश के समस्त राज्यों में सीधी भर्ती तथा प्रोन्नतिया चयन वर्ष के सापेक्ष की जाती हैं।लेकिन उत्तराखंड पावर कारपोरेशन लि० में यह पहला मौका है वर्ष 2009 के उन नटवरलालो को फायदा पहुंचाने के लिए सहायक अभियंताओ की नियुक्ति वर्ष वार अनंतिम ज्येष्ठता सूची जारी की गई है।
उत्तरांचल पावर इंजिनियर्स एसोसिएशन ने मांग की है कि उन घोटालेबाज नटवरलालो की पहचान की जाए और नियम विरुद्ध 2009 में जो 3 गुणात्मक अर्हकारी सेवा में शिथिलीकरण दिए गए हैं उनकी जांच करते हुए उत्तराखंड पावर कॉरपोरेशन में सहायक अभियंताओं की चयन वर्ष वार ज्येष्ठता सूची जारी की जाए।